Sunday, December 22, 2013

अनाडी का खेलना मतलब खेल का सत्यानाश।

जो लोग केजरीवाल को समझदार मानते थे वो लोग आज वास्तव में बहुत निराश होंगे. यह तो पप्पू से भी ज्यादा ना-समझ निकला. अपनी सरकार बनाने के लिए समर्थन लेने की जो शर्तें केजरीवाल ने रखीं हैं उन पर चर्चा करते हैं. कजरीवाल सरकार बना कर वादे पूरे करने का प्रयास करें न कि और नए वादे कर जनता को गुमराह करे. लोकलुभावन वादे करना बहुत आसान है मुश्किल है उनको अमल में लाने के लिए संशाधन जुटाना .

क्या केजरीवाल के पास ऐसी कोई योजना है जिसके द्वारा इन लोक लुभावन वादों को पूरा करने के लिए संशाधन जुटाय जायेंगे या फिर ये बताने की कृपा करेंगे कि इस सबके लिए पैसा कहाँ से आयेगा ? आपके चुनावी वादों को देखकर जनता ने आपको वोट दे दिया, अब उन वादों को पूरा कीजिए न कि - अट्ठारह नए वादे और कर दें उस पर भी ये उम्मीद करें कि - उन वादों को पूरा करने के लिए संशाधन विपक्ष जुटाकर देगा

1. - दिल्ली से वीआईपी कल्चर बंद होना चाहिए. दिल्ली का कोई भी विधायक, कोई भी मंत्री या अफसर लालबत्ती की गाड़ी, बड़े बंगले और अपने लिए सुरक्षा नहीं लेगा
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जब दिल्ली के मुख्यमंत्री आप होंगे तब मंत्रियों और विधायकों की सुरक्षा की जिम्मेदारी आपकी होगी न की बीजेपी या कांग्रेस की , आप कैसे करेंगे ये आप देखिये और हाँ दिल्ली सरकार के पास बड़े तो क्या छोटे बंगले भी नहीं है जो विधायकों को दे. अपने मंत्रियों को लाल बत्ती बांटना आपकी अपनी मर्जी पर निर्भर है या विपक्ष की मर्जी पर ?

2. - विधायक फंड और काउंसलर फंड खत्म किया जाएगा. यह फंड सीधे मोहल्ला सभाओं को जाएगा। जनता तय करेगी कि पैसा कहां खर्च हो.
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विधायक या काउंसलर के पास जब फंड ही नहीं होगा तो विकास कार्य कैसे करेगा और किसी के विधायक और काउंसलर होने का क्या अर्थ होगा ?

3.- दिल्ली के लिए लोकपाल बिल पास करना चाहते हैं. लोकपाल बिल पास होने के बाद 15 साल में कांग्रेस ने जितने घोटाले किए हैं, उनकी जांच होगी.
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बिल रखना और बिल पास कराने के लिए पर्याप्त बहुमत जुटाना सत्ताधारी पार्टी का काम है न कि - विपक्ष का. सरकार की किसी भी बात का बिरोध करना विपक्ष का विशेषाधिकार है

4. - सात साल में बीजेपी ने नगर निगम में जितने घोटाले किए हैं, उनकी जांच होगी. क्या बीजेपी को मंजूर है ?
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किसी भी घोटाले की जांच करना और अदालत में दोष साबित कर उसे सजा दिलवाने के लिए किसी पार्टी से अनुमति लेने की जरूरत थोड़े ही पड़ती है

5. - रामलीला मैदान के अंदर स्पेशल असेंबली सेशन बुलाएंगे और लोकपाल बिल वहां पास किया जाएगा.
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बिधान सभा किस लिए है ? वहां जब चाहो रामलीला कर लेना .

6. - दिल्ली को पूर्ण राज्य का दर्जा दिया जाए. कांग्रेस केंद्र में भी इसे पास कराने में मदद करे.
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इसके लिए तो खुद आपको ही प्रयास करने पड़ेंगे .

7. - बिजली कंपनियों का ऑडिट होना चाहिए. बिजली कंपनियों ने भारी हेराफेरी की है. ऑडिट करने से इनकार करने वाली कंपनी का लाइसेंस रद्द कर दिया जाए. ऑडिट के बाद बिजली की दरें तय की जाएं. दिल्ली में 50 पर्सेंट से ज्यादा बिजली के दाम कम किए जाएं.
.......................................................................................................... कम्पनियों का आडिट करने से आपको कौन रोकेगा भला ? हेराफेरी करने वाले का लाइसेंस रद्द करना और उसको सजा दिलाना तो आपकी ड्यूटी ही होगी . बिजली की कीमत कम कीजिए कौन मना करता है लेकिन बिजली खरीदने के लिए पैसे का इंतजाम आप को ही करना है

8. - दिल्ली में बिजली के मीटर तेज तल रहे हैं. इनकी निष्पक्ष जांच करवाई जाए. अगर मीटर गलत पाया जाता है तो लगने की अवधि से कंपनी से पैसा वसूला जाए.
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आपकी सरकार होगी आप अवश्य कीजिए , इसमें बीजेपी या कांग्रेस से पूछने की क्या जरुरत ?

9. - दिल्ली में पानी का माफिया काम कर रहा है. इसे बीजेपी और कांग्रेस के नेताओं का संरक्षण है. इनको तिहाड़ जेल भेजा जाए. आम आदमी को 700 लीटर पानी मुफ्त दिया जाए.
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